बीते दिनों गौतम अडानी की कंपनी अडानी समूह ने दिग्गज मीडिया कंपनी एनडीटीवी में करीब 29.18 प्रतिशत हिस्सा ख़रीद लिया. अडानी समूह के द्वारा करीब 29.18 प्रतिशत हिस्सा ख़रीदे जाने के बाद सोशल मीडिया पर एनडीटीवी के लोकप्रिय ऐंकर रवीश कुमार को लेकर एक दावा काफ़ी वायरल हो रहा है, जिसमें यह कहा जा रहा है कि उन्होंने एनडीटीवी से इस्तीफ़ा दे दिया है.
वायरल हो रहे दावे को सोशल मीडिया ख़ासकर फ़ेसबुक पर रवीश कुमार के फ़ोटो के साथ शेयर किया जा रहा है.
फ़ेसबुक पर वायरल दावे वाले एक कैप्शन में लिखा गया है "रविश कुमार ने #NDTV से दिया इस्तीफा, एक ग्रांड सैल्यूट तो बनता है सर के लिए, जहां मीडिया हाउस और पत्रकार अपने हथियार डाल दिए हैं। इस इंसान ने साबित कर दिया अगर ज़मीर जिंदा हो तो खरीदार मुल्क का बादशाह भी हो तो खाली हाथ ही लौटेगा".
वहीं कई अन्य कैप्शन के साथ भी रवीश कुमार के एनडीटीवी से इस्तीफ़े वाले दावे को शेयर किया गया है.
फ़ेसबुक पर मौजूद वायरल दावे वाले पोस्ट्स को आप यहां, यहां, यहां और यहां देख सकते हैं.
'लाल सिंह चड्ढा' से जोड़कर वायरल हो रही आमिर खान की यह तस्वीर पुरानी है
फ़ैक्ट चेक
बूम ने वायरल हो रहे दावे की पड़ताल के लिए सबसे पहले रवीश कुमार के सोशल मीडिया अकाउंट को खंगालना शुरू किया तो हमें उनके आधिकारिक ट्विटर अकाउंट से 24 अगस्त 2022 को किया गया एक ट्वीट मिला. ट्वीट में उन्होंने वायरल दावे का खंडन करते हुए इस्तीफ़े की बात को अफ़वाह बताया है.
रवीश ने अपने ट्वीट में व्यंग्यात्मक लहजे में लिखा है, "माननीय जनता, मेरे इस्तीफ़े की बात ठीक उसी तरह अफ़वाह है, जैसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मुझे इंटरव्यू देने के लिए तैयार हो गए हैं और अक्षय कुमार बंबइया आम लेकर गेट पर मेरा इंतज़ार कर रहे हैं। आपका, रवीश कुमार, दुनिया का पहला और सबसे महँगा ज़ीरो टीआरपी ऐंकर".
उन्होंने अपने आधिकारिक फ़ेसबुक अकाउंट से भी इस्तीफ़े वाले वायरल दावे का खंडन करते हुए पोस्ट किया है, जिसे आप नीचे देख सकते हैं.
इसके बाद हमने अपनी जांच को और पुख्ता बनाने के लिए रवीश कुमार से भी संपर्क किया. रवीश ने कहा कि उन्होंने इस संबंध में अपने अकाउंट से ट्वीट कर दिया है.
आख़िर क्या है एनडीटीवी में अडानी समूह के हिस्सेदारी ख़रीदने का पूरा मामला
बीते मंगलवार को अडानी समूह ने देश के दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज को बताया कि उन्होंने विश्वप्रधान कॉमर्शियल प्राइवेट लिमिटेड (VCPL) का 100 प्रतिशत हिस्सा ख़रीद लिया है. इसी विश्वप्रधान कॉमर्शियल प्राइवेट लिमिटेड के पास एनडीटीवी के 29.18 प्रतिशत शेयर गिरवी थे, जो एनडीटीवी के संस्थापक प्रणॉय रॉय और उनकी पत्नी राधिका रॉय के नियंत्रण वाली एक कंपनी आरआरपीआर को दिए गए एक लोन के एवज में रखे गए थे.
वीसीपीएल द्वारा आरआरपीआर को दिए गए लोन के साथ शामिल शर्तों में कहा गया था कि कर्ज न चुका पाने की स्थिति में वीसीपीएल गिरवी रखे गए शेयर्स के 99.5 प्रतिशत हिस्से को इक्विटी में बदल सकती है. कर्ज नहीं चुकाए जाने के कारण वीसीपीएल ने शेयर को इक्विटी में बदल दिया. चूंकि अब वीसीपीएल का पूरा हिस्सा अडानी समूह के पास है इसलिए अब तकनीकी रूप से सारे शेयर अडानी समूह के हो चुके हैं. इतना ही नहीं अब अडानी समूह ने एनडीटीवी में और 26 प्रतिशत हिस्सा ख़रीदने की पेशकश की है. अगर यह संभव हो जाता है तो एनडीटीवी के करीब 55 प्रतिशत शेयर अडानी समूह के पास होंगे. हालांकि एनडीटीवी ने अडानी समूह के इस कदम पर आपत्ति जताई है और एक्सचेंज को बताया है कि वीसीपीएल ने शेयर को इक्विटी में बदलने का फ़ैसला बिना हमारी सहमति के लिया है.
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