सोशल मीडिया पर एक वीडियो काफ़ी वायरल है जिसमें कुछ लोग आरक्षण विरोधी और संविधान विरोधी नारे लगाते हुए कुछ जलाते दिख रहे हैं. वीडियो को हाल का बताकर दावा किया जा रहा है कि ये मध्य प्रदेश का है और वीडियो में दिख रहे लोग भारतीय संविधान की प्रतियों को जला रहे हैं.
वीडियो में स्पष्ट देखा जा सकता है कि कुछ लोग संविधान की सांकेतिक प्रतियों में आग लगाते हुए नारेबाज़ी कर रहे हैं. आंबेडकर मुर्दाबाद, संविधान मुर्दाबाद, संविधान जलाओ देश बचाओ, भारत माता की जय, एसी/एसटी एक्ट मुर्दाबाद जैसे नारे बारंबार लगाए जा रहे हैं. वीडियो शेयर करने वाले इन लोगों के ख़िलाफ़ देशद्रोह का मुकदमा दर्ज कर सज़ा देने की मांग कर रहे हैं.
बूम ने अपनी जांच में पाया वायरल वीडियो दिल्ली का है और 2018 से है.
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ट्विटर पर एक यूज़र ने ट्वीट करते हुए लिखा,'एमपी का यह वीडियो है, इसमें यह लोग संविधान को जला रहे हैं और डॉक्टर बी आर अंबेडकर मुर्दाबाद के नारे लगा रहे हैं, ऐसे लोगों पर देशद्रोह का मुकदमा दर्ज किया जाना चाहिए'
आर्काइव लिंक यहाँ है.
इसी वीडियो को रिसर्च स्कॉलर एवं 'कास्ट मैटर्स' किताब के लेखक सूरज हेगड़े ने क्वोट ट्वीट करते हुए लिखा,'एंटी-इंडियन होने की पहचान तिलक, जातिवाद और संविधान से घृणा'
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फ़ेसबुक पर भी ये वीडियो इसी दावे से बहुत वायरल है.
फ़ैक्ट चेक
बूम ने सबसे पहले सर्च किया कि हाल में मध्यप्रदेश में क्या इस तरह की कोई घटना हुई है? इस दावे की पुष्टि करती हुई कोई रिपोर्ट नहीं मिली.
इसके बाद वीडियो से स्क्रीनग्रैब निकाल कर रिवर्स इमेज सर्च किया तो नवभारत की 14 अगस्त 2018 की एक रिपोर्ट मिली. इसके मुताबिक़ दिल्ली में 9 अगस्त को जंतर-मंतर मैदान पर कुछ असामाजिक लोगों ने संविधान और आम्बेडकर के अपमान में नारे लगाए. इसके विरोध में महाराष्ट्र के वाशिम ज़िले में आम्बेडकरवादियों ने पुलिस को ज्ञापन दिया.
इसके आधार पर बूम ने यूट्यूब पर सर्च किया तो 'सिटीजन फॉर जस्टिस एंड पीस' नाम के चैनल पर वीडियो मिला जिसे 13 अगस्त 2018 को अपलोड किया गया. वीडियो के अनुसार 'यूथ फॉर इक्वलिटी आज़ाद सेना' और 'आरक्षण विरोधी पार्टी' के सदस्यों ने दिल्ली में 10 अगस्त को आरक्षण व एससी/एसटी समुदाय विरोधी नारेबाज़ी करते हुए संविधान को जलाया. अखिल भारतीय भीम सेना ने इन लोगों के विरुद्ध पुलिस में शिकायत की. पुलिस ने मामले को धारा आईपीसी 153 (A) और 505 के तहत मामला दर्ज़ किया.
आगे और खोजने पर 'द लल्लनटॉप' की 14 अगस्त 2018 की 'sc/st से तकलीफ़ थी तो संविधान ही जला दिया' शीर्षक से रिपोर्ट मिली. रिपोर्ट के अनुसार sc/st एक्ट के विरोध में संसद मार्ग पर जमा हुए लोगों ने कथित रूप से संविधान जलाया और आम्बेडकर व एससी/एसटी समुदाय के ख़िलाफ़ अपमानजनक नारेबाज़ी की. इस वीडियो रिपोर्ट में वायरल वीडियो की क्लिप्स देखी जा सकती हैं.
इसी घटना पर 13 अगस्त 2018 की हिन्दुतान टाइम्स की रिपोर्ट में लिखा गया है कि अखिल भारतीय भीम सेना के राष्ट्रीय प्रभारी अनिल तंवर की शिकायत पर संसद मार्ग थाने की पुलिस ने कथित रूप से संविधान की प्रति जलाने के मामले में 40 वर्षीया दीपक गौड़ को गिरफ़्तार कर लिया है. एक अन्य आरोपी अभिषेक शुक्ला की तलाश पुलिस कर रही है.
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