Claim
“अब पता चला आटा लीटर में कैसे बिक रहा है, 50 साल में राहुल गांधी को हिंदी नहीं आई और अख़बार कन्नड़ में पढ़ रहा है”
Fact
बूम पहले भी कांग्रेस नेता राहुल गांधी की इस तस्वीर के साथ किये गए दावे का फ़ैक्ट चेक कर चुका है. तब, हमें अपनी जांच में यह तस्वीर जून 2017 की मीडिया रिपोर्ट्स में मिली थी. रिपोर्ट्स के मुताबिक़, राहुल गांधी बंगलुरु में नेशनल हेराल्ड के स्मारक संस्करण में पहुंचे थे. नेशनल हेराल्ड के एडिटर इन चीफ़ ज़फ़र आगा ने वायरल दावे को ख़ारिज करते हुए बूम को बताया था कि पूरा अख़बार अंग्रेज़ी भाषा में था. उस फंक्शन में स्थानीय लोग भी थे, ऐसे में एडिटोरियल टीम ने अख़बार के बाहरी पन्नों को कन्नड़ भाषा में रखने का फ़ैसला किया था. जबकि पूरा अख़बार अंग्रेज़ी भाषा में था. हमने पाया कि नेशनल हेराल्ड अख़बार तीन भाषाओं में अलग-अलग नाम से छपता है. नेशनल हेराल्ड (अंग्रेजी), नवजीवन (हिंदी) और क़ौमी आवाज़ (उर्दू). पूरी रिपोर्ट नीचे पढ़ें.