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फैक्ट चेक

क्या वीडियो में चीनी पुलिसकर्मी कोरोनावायरस के मरीज़ों को मार रहे हैं? फ़ैक्ट चेक

बूम ने पाया कि यह दावा झूठा है और तीन अलग-अलग वीडियो को जोड़ कर यह वीडियो बनाया गया है।

By -  Nivedita Niranjankumar | By -  Swasti Chatterjee |

14 Feb 2020 5:41 PM IST

तीन अलग-अलग असंबंधित वीडियो को एक साथ जोड़ कर यह झूठा दावा किया जा रहा है कि वुहान में कोरोनोवायरस को फैलने से रोकने के लिए चीन सरकार इस जानलेवा बीमारी से संक्रमित मरीजों को मार रही है। इनमें से एक वीडियो में सशस्त्र पुलिसकर्मियों को देखा जा सकता है| जबकि दूसरी क्लिक में मेडिकल पेशेवरों को लोगों की गिनती करते हुए देखा जा सकता है।

बूम यह पता लगाने में सक्षम था कि यह तीनों वीडियो एक-दूसरे से संबंधित नहीं हैं| वास्तव में उनमें से दो चीन में कोरोनावायरस महामारी के फैलने से जुड़े नहीं हैं।

कोरोनावायरस अब आधिकारिक तौर पर COVID-19 नाम से जाना जाता है। इस घातक बीमारी के कारण 1300 से अधिक मौतें हो चुकी हैं और चीन में कम से कम 60,000 लोग संक्रमित हुए हैं। कहा जाता है कि वायरस के इस प्रकार की उत्पत्ति चीनी प्रांत वुहान में हुई थी| वुहान अब लॉकडाउन कर दिया गया है। भारत के केरल राज्य में इस बीमारी के लक्षण तीन लोगों में देखे गए जिन्हें बाक़ी आवादी से अलग जगह पर रखा गया है। तीन में से एक को तब से छुट्टी दे दी गई है जब उसके लगातार दो नमूनों का टेस्ट निगेटिव आया।

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वायरल क्लिप को हिंदी और अंग्रेजी में कई कैप्शन के साथ शेयर किया जा रहा है, जिनमें से अधिकांश में यह दावा किया गया है कि चीन सरकार संक्रमित लोगों को मार रही है।

पूरा फुटेज व्हाट्सएप्प, फेसबुक और ट्विटर पर वायरल है। कई पाठकों ने इस वीडियो को बूम के व्हाट्सएप्प हेल्पलाइन नंबर (7700906111) पर भी भेजा है।

क्रम 1


55 सेकंड के वीडियो क्लिप में सबसे पहले पुलिस गाड़ी के पास खड़े पारदर्शी चौग़ा पहने तीन पुलिसकर्मियों का एक टॉप एंगल व्यू दिखाया गया है। इनमें से एक बंदूक में गोली लोड कर रहा है। आगे पुलिसकर्मियों को आवासीय क्षेत्र में चलते हुए दिखाया गया है। क्लिप में उन्हें स्थानीय भाषा में बोलते हुए सुना जा सकता है।

क्रम 2


वीडियो के दूसरे दृश्य में एक खुले आंगन के फर्श पर लोगों को गुस्से में देखा जा सकता है। मेडिकल पेशेवर उनकी ओर बढ़ रहे हैं और आसपास के लोग आतंकित नज़र आ रहे हैं। हालांकि पहले दृश्य में कोई वर्णन नहीं है, लेकिन दूर गोलियां चलने की आवाज़ सुनी जा सकती है। हालांकि, वायरल वीडियो में दावा किया गया है कि लोगों को मार दिया गया है| क्लिप में कहीं भी खून नहीं दिखाई देता है और ऐसा प्रतीत होता है कि इनमें से एक मरीज जीवित है और चिकित्साकर्मियों को प्रतिक्रिया दे रहा है।

क्रम 3


तीसरे दृश्य में पगडण्डी पर पड़ी पीली जैकेट में एक व्यक्ति है, जिसके साथ एक अन्य व्यक्ति को घुटने के बल खड़े देखा जा सकता है| बैकग्राउंड में एक एम्बुलेंस और कुछ अन्य वाहनों को भी देखा जा सकता है। इस दृश्य में भी गोलियां चलने जैसी आवाज़ें सुनी जा सकती है।


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फ़ैक्ट चेक

बूम यह पता लगाने में सक्षम था कि वायरल क्लिप में तीन अलग-अलग घटनाएं हैं| इनमें से दो हाल ही में COVID-19 के प्रकोप से सम्बंधित नहीं हैं। इन तीनों क्लिप को एडिट कर, आतिशबाजी की आवाज़ जोड़ कर एक वीडियो बनाया गया है| यह झूठा दावा किया जा रहा है कि चीन सरकार कोरोनावायरस से संक्रमित मरीजों को मार रही है।

हमने पाया कि सशस्त्र पुलिसकर्मियों का पहला वीडियो यिवू शहर का है, और संभवतः पुराना है। यह वीडियो तब का है जब इस क्षेत्र में हड़कंप मचा रहे उग्र कुत्ते को वश में करने के लिए विशेष पुलिस दस्ते को बुलाया गया था| तीसरा वीडियो जहां फुटपाथ पर जवान दिखाई दे रहा है, वह तेज़ ड्राइविंग का मामला है।

हमने यह भी पाया कि गोलियों की आवाज से मिलती-जुलती आवाज वास्तव में आतिशबाजी है और पिछले वीडियो में ऊपर से डाली गई है।

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पहला वीडियो - बंदूक के साथ पुलिसकर्मी


पहले दृश्य में एक पुलिस कार के पास तीन पुलिसकर्मियों को दिखाया गया है। कार के बोनट पर चीनी अक्षरों में पुलिस लिखा है और एक पुलिसकर्मी अपनी बंदूक तैयार कर रहा है। उन्हीं पुलिसकर्मियों को एक इमारत में चलते हुए दिखाया गया है, जबकि बैकग्राउंड में स्थानीय भाषा में एक ऑडियो चल रहा है।

हमने सबसे पहले यह ऑडियो ऐसे व्यक्ति से अनुवाद कराया जो यह भाषा जानता था। मोटे तौर पर इसका अनुवाद है, "बंदूकें तैयार हैं, हम नहीं जानते कि यह किस लिए है, सब-मशीन बंदूक, पिस्तौल।"

सुत्रों के माध्यम से, बूम चीन के झेजियांग प्रांत के यिवू शहर में एक स्थानीय पुलिसकर्मी द्वारा वीचैट पोस्ट के स्क्रीनशॉट पाने में सक्षम रहा है। मैंडेरिन में स्क्रीनशॉट ऊपर दिए गए वीडियो को संदर्भित करता है और अफ़वाहें फैलाने के ख़िलाफ चेतावनी देता है। अपने पोस्ट पर नाम न रखने की इच्छा रखने वाले पुलिस अधिकारी का कहना है, "यदि आपके समूह में कोई व्यक्ति इस वीडियो को फैला रहा है, तो कृपया स्पष्ट करने में सहायता करें। दोपहर में, वाईवू विशेष पुलिस ने बड़े कुत्ते के निपटान के लिए नगर ब्यूरो कमांड सेंटर से निर्देश लिया... यह कुत्ता लुओझाई में आमतौर पर पागल कुत्ता कहलाता है| यह सामान्य पुलिस कार्रवाई है और महामारी से इसका कोई लेना देना नहीं है ।"

पुलिसकर्मी नाम बताने की इच्छा नहीं रखता था लेकिन बूम नीचे वीचैट पर उसके पोस्ट के स्क्रीनशॉट तक पहुंचने में सक्षम था।


हमें, एक चीनी मीडिया नेटवर्क, चाइना ग्लोबल टेलीविज़न नेटवर्क द्वारा एक ट्वीट भी मिला, जिसमें कहा गया था यिवू पुलिस ने वीडियो को कोरोनावायरस से जुड़ा होने से इनकार किया| उन्होंने कहा कि यह "चालाकी से अलग-अलग दृश्यों के साथ छेड़छाड़ कर बनाया गया था और सशस्त्र अधिकारी केवल एक उग्र कुत्ते से निपट रहे थे।"

दूसरा वीडियो - मरीजों की जांच करते मेडिकल पेशेवर


दूसरी क्लिप को भी शेयर करते हुए दावा किया गया था कि यह वुहान का है, जहां से COVID-19 का प्रकोप उत्पन्न हुआ है।

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हमने यह वीडियो यूट्यूब पर पाया जिसे 25 जनवरी को अपलोड किया गया था, जिसमें यह दावा किया गया था कि बैकग्राउंड में सुनी जाने वाली आवाज़ें गोलियां चलने की है। क्लिप के एक विस्तृत विश्लेषण से पता चला है कि यह बंदूक की गोली चलने की आवाज़ नहीं थी, लेकिन कुछ ही दूरी पर आतिशबाजी चलने की आवाज़ थी।

Full View

हमने खोज की तो पता चला कि 25 जनवरी को चीनी लूनर नव वर्ष था, जिसे वहां व्यापक रूप से मनाया जाता है। जबकि समाचार रिपोर्ट में कहा गया है कि इस वर्ष समारोह फीका रहा लेकिन हमें यूट्यूब पर चीन के कई वीडियो मिले जिसमें उस दिन क्षेत्र के लोगों को आतिशबाजी करते हुए दिखाया गया है।

बूम इस वीडियो के सटीक स्थान का पता लगाने में सक्षम नहीं था।

तीसरा वीडियो - फुटपाथ पर पीली जैकेट में एक शख़्स

तीसरे वीडियो में एक आदमी को पीले रंग की जैकेट में एक फुटपाथ पर पड़ा दिखाया गया है जिसके पास एक दूसरा व्यक्ति घुटने के बल बैठा है| साथ ही वहां एक एम्बुलेंस भी देखा जा सकता है। इस वीडियो में पिछले दृश्य के समान बंदूक की गोलियों की तरह आवाज़ सुनी जा सकती है।

हमने इस वीडियो और ऑडियो का अलग-अलग विश्लेषण किया और पाया कि गोलियों से मिलती-जुलती आवाजें मूल वीडियो का हिस्सा नहीं हैं, बल्कि उन्हें कोरोनोवायरस पीड़ितों की गोली मारकर हत्या किए जाने के झूठे दावे का समर्थन करने के लिए जोड़ा गया है।

30 जनवरी को एक यूज़र द्वारा ट्वीट किया गया था, जिसमें जमीन पर घुटने के बल बैठे युवा का यही वीडियो था वीडियो में ऐसी कोई आवाज नहीं सुनाई देती है ( नीचे देखें), जिससे इस बात की पुष्टि होती है कि गोलियों की आवाज के ऑडियो को क्लिप में अलग से जोड़ा गया था।

वीडियो को ट्वीट करने वाले यूज़र ने ग़लत दावा किया कि घटना वुहान की है। ट्वीट के अनुसार एक व्यक्ति को इसलिए गोली मार दी गई क्योंकि वह एक ब्लॉक किए गए जंक्शन से गुज़र रहा था। इस दावे पर, एक अन्य ट्विटर यूज़र ने जवाब दिया कि यह घटना 'उसके शहर' में हुई थी, जहां दोपहिया वाहन पर सवार दो नाबालिग खंभे से टकरा गए थे (और बाद में एक ने अपनी जान गंवा दी)।

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उन्होंने आगे स्थान की पहचान 'सियुआन स्कूल के दूसरी तरफ, हुआंगमी काउंटी के वुजू टाउन' के रूप में की।

हमने तब वीडियो को बारीकी से देखा और पाया कि वीडियो में कुछ सेकंड के लिए नौजवान के पास का फुटपाथ टूटा हुआ नजर आ रहा है और लग रहा है कि अचानक टकराव से टूटा है।

टूटा हुआ फुटपाथ

फ्रांस स्थित समाचार वेबसाइट फ्रांस 24 ऑब्ज़र्वर ने वुज़ू के एक स्थानीय निवासी के साथ पुष्टि करते हुए उपरोक्त वीडियो की जांच की और पाया कि यह 29 जनवरी, 2020 को हुई एक सड़क दुर्घटना थी।स्थानीय ने फ्रांस 24 ऑब्ज़र्वर को सूचित किया कि वीडियो उस व्यक्ति का है जो एक सड़क दुर्घटना में मर गया।

उन्होंने कहा, "मैं इस बात की पुष्टि कर सकता हूं कि दृश्य को 29 जनवरी, 2020 को सियुआन स्कूल के सामने वुजू में फिल्माया गया था। मैं पास ही रहता हूं और मेरे कई दोस्त घटना के समया वहां से गुज़रे। लेकिन, जैसा कि ट्विटर पर लोग कह रहे हैं, इसके विपरीत, जमीन पर मौजूद व्यक्ति कोई महिला नहीं है, वह एक युवा व्यक्ति है, और वह पुलिस द्वारा नहीं मारा गया था, वह एक मोटर साइकिल दुर्घटना थी। "

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हम उस संदेश तक पहुंचाने में भी सक्षम थे, जो कमिश्नर झाओ, वुजू पुलिस स्टेशन के निदेशक से प्राप्त स्थानीय निवासी ने उनके साथ शेयर किया था। प्रेस बयान में कहा गया है, "29 जनवरी की दोपहर में, वुझू शहर में एकतरफा [एक-वाहन] सड़क दुर्घटना हुई। इसमें शामिल व्यक्ति एक स्कूटर चला रहा था और यातायात की ख़राब स्थिति के कारण उसका संतुलन बिगड़ा, वह सड़क के किनारे, नीचे की ओर पत्थरों से टकराया और सिर के पिछले हिस्से पर गिर गया, और दुर्भाग्यवश उसकी मृत्यु हो गई। ड्राइवर पूरी तरह से जिम्मेदार था। स्थानीय पुलिस और स्वास्थ्य केंद्र के कार्यकर्ता जल्दी से दुर्घटना को संभालने के लिए पहुंचे।"

फ्रांस 24 ऑब्ज़र्वर की अनुमति से प्रकाशित


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