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फैक्ट चेक

जम्मू में फिल्माया 2018 का वीडियो फ़र्ज़ी दावों के साथ वायरल

बूम ने पाया की यह वीडियो पाकिस्तान के पंजाब का नहीं है और महिलाएं हिन्दू नहीं हैं|

By - Saket Tiwari | 29 Jan 2020 4:08 PM IST

जम्मू के राजौरी में 2018 में फिल्माया गया एक वीडियो जिसमें एक शख़्स दो महिलाओं को डंडे से बेहरहमी से पीट रहा है फ़र्ज़ी दावों के साथ वायरल है| दावा है की यह हिन्दू महिलाएं पाकिस्तान के पंजाब प्रान्त से हैं|

एक मिनट 40 सेकंड लम्बा यह वीडियो दिल दहला देने वाला है| शख़्स महिलाओं को गालियां दे रहा है और डंडे से एक खुले इलाके में मार रहा है| वह एक महिला से पूछता नज़र आता है, "जाएगी तू दोबारा" जिसके जवाब में महिला हाथ जोड़ते हुए कहती है, "नहीं, माफ़ कर दे... माफ़, माफ़..."

इस वीडियो की दहला देने वाली प्रवत्ति के चलते बूम इसे लेख में नहीं रख रहा है|

यह भी पढ़ें: क्या पाकिस्तान में वकीलों ने एक हिंदू महिला पर हमला किया? फ़ैक्ट चेक

इसके साथ एक कैप्शन भी दिया गया है जिसमें लिखा है, "इमाम , कामरा, अरफ़ा, स्वरा, ये पाकिस्तान में हिंदू बहनें हैं, इन बहनों का दुःख दर्द समझ, आये तो कुछ व्यक्त भी कर देना, रोहिंग्या व बांग्लादेशी घुसपेठियों, से तो बहुत याराना है, हिंदुओं से इतनी घृणा क्यों है ? #CAA_NRC_support"

एक दूसरे कैप्शन में लिखा है की यह पाकिस्तान के पंजाब में हिन्दू महिलाओं की स्थिति है|

बूम ने पाया की यह दावे फ़र्ज़ी हैं और महिलाएं मुस्लिम हैं| यह घटना जम्मू के राजौरी की है न की पाकिस्तान की| इसके अलावा, जो शख़्स महिलाओं को मार रहा है उसका नाम पवन कुमार उर्फ़ पम्मा है|

यह भी पढ़ें: पंजाब कांग्रेस काउंसिलर के भाइयों द्वारा महिला को पीटे जाने के वीडियो को बीजेपी से जोड़ने की कोशिश

इस वीडियो को प्रशांत पटेल उमराव ने रीट्वीट किया है, वह एक दिल्ली में स्थित सुप्रीम कोर्ट के लॉयर हैं| बूम ने पहले भी प्रशांत द्वारा फैलाई गयी सांप्रदायिक ग़लत सूचना को ख़ारिज किया था|

आर्काइव्ड वर्शन यहाँ और यहाँ देखें|


यह वीडियो फ़ेसबुक पर भी सामान दावों के साथ वायरल है|


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फ़ैक्ट चेक

बूम ने वीडियो के कीफ्रेम्स के साथ एक रिवर्स इमेज सर्च चलाया और डेलीहंट द्वारा दो साल पहले प्रकाशित एक लेख तक पहुंचे| इस लेख से संकेत लेते हुए हमनें कीवर्ड्स खोज की और पाया की जून 2018 में भी ट्वीटर पर यह वीडियो पोस्ट किया गया था|

एक ट्वीट यूज़र ने वीडियो के स्क्रीनशॉट के साथ लिखा था की यह घटना राजौरी (जम्मू)" में 13 जून, 2018 को हुई थी और आरोपी को रणबीर पीनल कोड के अंतर्गत गिरफ़्तार किया था|

रणबीर पीनल कोड जम्मू और कश्मीर में भारतीय दंड संहिता का विकल्प था जो अनुच्छेद 370 के हटाए जाने के बाद ख़त्म होगया|

ट्वीट नीचे देखें|

इसके अलावा प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया की एक रिपोर्ट, जिसे बिज़नेस स्टैण्डर्ड ने भी प्रकाशित किया था, के अनुसार, "राजौरी निवासी पवन कुमार उर्फ़ पम्मा दो महिलाओं - सकीना बेगम (45) और उनकी बेटी आबिदा कौसर (20) - को डंडे और लातों से मारते देखा जा सकता है| यह वीडियो सोशल मीडिया पर सोमवार को वायरल हुआ जिसके बाद नेटिज़ेंस ने इस शख़्स के ख़िलाफ कठोर एक्शन की मांग की|"

एक पुलिस अफसर ने पी.टी.आई को बताया की, "महिलाओं ने कहा की उन्हें बाथरूम इस्तेमाल करने के कारण मारा जबकि आरोपी ने कहा की उसने यह इसलिए किया क्योंकि दोनों महिलाओं ने उनके बेटे को पीटा|"


हमें पुलिस मीडिया केंद्र जम्मू द्वारा एक ट्वीट भी मिला|

जैसा पी.टी.आई के लेख में प्रकाशित है, पवन को रणबीर पीनल कोड के अंतर्गत सेक्शन 452, 354, 325, 323, 34 में गिरफ़्तार किया था|

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