सोशल मीडिया पर एनडीटीवी वर्ल्ड की वीडियो रिपोर्ट की एक क्लिप वायरल हो रही है, जिसमें एंकर दुबई एयर शो के दौरान तेजस फाइटर जेट क्रैश को लेकर सवाल उठाते हुए दावा कर रहे हैं कि जेट को उड़ान की क्लियरेंस नहीं मिली थी लेकिन दबाव के कारण फिर भी उसे उड़ाया गया.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि वायरल वीडियो के साथ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से छेड़छाड़ की गई है. कई एआई डिटेक्टर टूल्स ने भी इसमें छेड़छाड़ की प्रबल संभावना जताई है. एनडीटीवी की मूल वीडियो रिपोर्ट में इस तरह की कोई टिप्पणी शामिल नहीं है.
वायरल क्लिप एआई की मदद से हेरफेर किए गए कंटेंट के उस व्यापक पैटर्न का हिस्सा है, जिसमें भारतीय मीडिया की कई हस्तियां राजनीतिक रूप से संवेदनशील बयान देती दिख रही हैं. बूम ने रवीश कुमार समेत कई पत्रकारों के ऐसे मनगढ़ंत वीडियो का फैक्ट चेक किया है.
गौरतलब है कि दुबई एयर शो 2025 के अंतिम दिन 21 नवंबर को भारतीय लड़ाकू विमान तेजस दुर्घटनाग्रस्त हो गया. हादसे में पायलट विंग कमांडर नमांश स्याल की मौके पर ही मौत हो गई.
सोशल मीडिया पर क्या है वायरल?
सोशल मीडिया पर ज्यादातर पाकिस्तानी अकाउंट द्वारा यह वीडियो क्लिप शेयर की जा रही है. एनडीटीवी वर्ल्ड की करीब 31 सेकंड इस क्लिप में एकंर अभिषेक सेनगुप्ता अंग्रेजी में विमान क्रैश को लेकर खुलासा करते हुए कहते हैं कि "हम दुबई एयर शो में हुए तेजस जेट क्रैश के पीछे के कारण की जांच कर रहे हैं. एक बड़ा खुलासा हुआ है. एक इंटरनल रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जेट को उड़ान के लिए क्लियरेंस नहीं मिली थी फिर भी उसने उड़ान भरी."
एंकर आगे सवाल उठाते हुए कहते हैं, "आखिर ऊपर से दबाव किसने बनाया? वह ताकतवर हाथ कौन है जिसने टेकऑफ के लिए मजबूर किया, जिससे राष्ट्रीय शर्मिंदगी की यह घटना हुई? चाहे यह पायलट की गलती हो या न हो, लेकिन जो बात सामने आई है वह बहुत बड़ी है."
एक्स और फेसबुक जैसे प्लेटफॉर्म पर इस वीडियो को शेयर करते हुए यूजर्स लिख रहे रहे हैं, "एनडीटीवी वर्ल्ड ने गलती से सच बता दिया. जेट को तकनीकी रूप से उड़ान भरने की अनुमति नहीं थी फिर भी दिल्ली के "फोटो-ऑप कमांडो" ने उसे हवा में उड़ा दिया. भारत ने इंसानी जान के साथ खिलवाड़ किया, जो राष्ट्रीय स्तर पर एक आपराधिक लापरवाही है. प्रसारण के कुछ ही मिनटों बाद यह क्लिप गायब हो गई." आर्काइव लिंक यहां और यहां देखें.
पहले भी @Baba_Thoka नाम के इस एक्स हैंडल ने सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी का एक एआई जनरेटेड वीडियो शेयर किया था, जिसमें उन्हें कहते हुए दिखाया गया था कि भारतीय सेना 2028 तक गैर-हिंदू सैनिकों की संख्या में 50 प्रतिशत से अधिक की कमी करेगी. बूम ने तब इस वीडियो का फैक्ट चेक किया था.
पड़ताल में क्या मिला:
मूल वीडियो रिपोर्ट में एंकर ने इस तरह का दावा नहीं किया
हमें एनडीटीवी वर्ल्ड के आधिकारिक एक्स हैंडल पर अभिषेक सेनगुप्ता द्वारा किए गए ग्राउंड रिपोर्ट का एक वीडियो मिला. इस 4 मिनट के वीडियो में वायरल क्लिप वाला हिस्सा देखा जा सकता है, इसमें वह दुबई में हुई विमान दुर्घटना के बारे में बताते नजर आ रहे हैं. हमने पाया कि इसमें एंकर वायरल वीडियो जैसा कोई खुलासा नहीं कर रहे हैं.
हमें एनडीटीवी के यूट्यूब चैनल पर इस ग्राउंड रिपोर्ट का पूरा वीडियो भी मिला. पूरे वीडियो में भी कहीं वायरल वीडियो जैसा कोई दावा नहीं किया गया. हमने देखा कि वायरल क्लिप में अभिषेक सेनगुप्ता के चेहरे और आंखों के भाव थोड़े असंगत दिखाई देते हैं जैसा कि आमतौर पर एआई जनरेटेड कंटेंट में देखने को मिलता है.
वीडियो में एआई की मदद से छेड़छाड़ की गई है
वीडियो की जांच के लिए हमने इसकी आवाज को एआई डिटेक्टर टूल DeepFake-O-Meter और Hiya पर चेक किया. DeepFake-O-Meter के ज्यादातर मॉडल्स ने इसकी आवाज के एआई जनरेटेड होने की संभावना जताई. इसके लिप-सिंक्ड डीपफेक डिटेक्शन मॉडल ने भी इसे शत प्रतिशत फेक बताया, जिसका मतलब था कि वीडियो में छेड़छाड़ की गई है.
डीपफेक वॉयस डिटेक्टर टूल Hiya ने भी आवाज को 1/100 का ऑथेंटिसिटी स्कोर दिया, जो इसके डीपफेक होने की संभावना को बताता है.
अभिषेक सेनगुप्ता ने भी किया वीडियो का खंडन
एंकर अभिषेक सेनगुप्ता ने अपने सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो का खंडन करते हुए मूल वीडियो क्लिप साझा की और लिखा कि यह मेरा चेहरा है लेकिन आवाज और शब्द मेरे नहीं हैं.


