फैक्ट चेक

ये कानपुर में आठ पुलिस कर्मियों की मौत से जुड़े अपराधी विकास दुबे की तस्वीर नहीं है

बूम ने वायरल तस्वीर में दिख रहे भाजपा नेता विकास दुबे से संपर्क किया और पाया की ये दावें बिलकुल बेबुनियाद हैं

By - Sumit | 3 July 2020 2:38 PM IST

ये कानपुर में आठ पुलिस कर्मियों की मौत से जुड़े अपराधी विकास दुबे की तस्वीर नहीं है

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ एक भाजपा नेता की तस्वीर सोशल मीडिया पर इस फ़र्ज़ी दावे के साथ वायरल है की ये वही कुख्यात अपराधी विकास दुबे है जिसका हाथ 1 जुलाई को कानपूर में हुए यु.पी. पुलिस के आठ पुलिसकर्मियों के हत्या के पीछे है |

बूम ने वायरल तस्वीर में दिख रहे भाजपा नेता - जिनका नाम भी विकास दुबे है - से बात की और पता लगाया की ये दावें बिलकुल फ़र्ज़ी हैं |

ज्ञात रहे की 1 जुलाई 2020 को लखनऊ से 150 किलोमीटर दूर बिकरु गांव में विकास दुबे नामक कुख्यात अपराधी को पकड़ने के लिए चलाये गए एक ऑपरेशन में 8 पुलिसकर्मियों की जान चली गयी थी और 7 घायल हुए थे । दुबे साठ आपराधिक मामलों में वांछित है | 2001 में हुए भाजपा नेता संतोष शुक्ला की हत्या में भी यह मुख्य आरोपी है ।

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घटना 1 जुलाई की रात में दुबे को पकड़ने गयी पुलिस की टीम के साथ हुई जिसमें उत्तर प्रदेश पुलिस के एक डीसीपी और तीन सब इंस्पेक्टर सहित 8 पुलिसकर्मीयों की जान चली गयी । 

फ़र्ज़ी दावा कहता है "उत्तरप्रदेश के कानपुर में भाजपा नेता विकास दुबे नामक आतंकवादी ने ८ पुलिसकर्मियों की निर्मम हत्या कर दिया हत्या करने वाले विकास दुबे  योगीजी के बेहद क़रीबी बताया जा रहा है क्या उन पुलिसकर्मियों को योगी सरकार की गुंडाराज में इंसाफ मिलेगा ?"

पोस्ट्स नीचे देखें और इनके अर्काइव्ड वर्शन यहाँ और यहाँ देखें ।

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यही दावा ट्विटर पर भी शेयर किया जा रहा है |


फ़ैक्ट चेक

बूम ने तस्वीर को रिवर्स इमेज सर्च पर जांचा पर हमें कोई सफ़लता हासिल नहीं हुई | इसके बाद हमने वायरल तस्वीर और विकास दुबे की फ़ाइल तस्वीर की भी तुलना की और पाया की दोनों बिलकुल अलग हैं |


बूम ने इसके बाद कानपूर के एक लोकल फ़ोटोग्राफर से बात की तो हमें पता चला की वायरल तस्वीर में दिख रहे व्यक्ति का नाम भी विकास दुबे है और वो कानपुर में भारतीय जनता पार्टी के लीडर हैं |

इसके बाद हमने दुबे के फ़ेसबुक प्रोफ़ाइल को खोजा और उनके टाइमलाइन पर शेयर की गयी तस्वीरों को खंगाला तो पाया की उनकी कई तस्वीरें भाजपा के राजनेताओं के साथ खींची गयी हैं |

दुबे के फ़ेसबुक प्रोफ़ाइल पर उन्हें क्षेत्रीय अध्यक्ष कानपुर-बुंदेलखंड क्षेत्र बीजेपी युवा मोर्चा बताया गया है |

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बूम ने उनके फ़ेसबुक पेज पर एक अपील भी पाई जिसमे इन्ही वायरल दावों के साथ उन्होंने लोगो से अफ़वाहो से बचने को कहा था |

फ़र्ज़ी ट्वीट का दावा: प्रशांत भूषण ने टिकटोक बैन के खिलाफ़ दाखिल की याचिका

दुबे के प्रोफ़ाइल पर हमने वो तस्वीर भी ढूंढ निकाली जो फ़िलहाल गलत दावे के साथ शेयर की जा रही है | तस्वीर 15 नवंबर 2019 को शेयर की गयी थी | हमने इसके बाद विकास दुबे से संपर्क किया तो उन्होंने बूम को बताया की वो उन लोगो के ख़िलाफ़ क़ानूनी कार्यवाही करेंगे जो ऐसे दुष्प्रचार फ़ैला रहें हैं |

"ऐसा दुष्प्रचार कर के लोग मेरी तथा पार्टी की छवि ख़राब करना चाहते हैं | मैंने उनके ख़िलाफ़ कार्यवाही करूँगा," दुबे ने बूम को बताया |

जब हमने उनसे तस्वीर के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया की तस्वीर नवंबर 2019 में तब खींची गयी थी जब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कानपुर के चंद्रशेखर आज़ाद यूनिवर्सिटी आएं थें |

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