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फैक्ट चेक

गणेश शोभायात्रा के दौरान पथराव करते युवकों का वीडियो गलत सांप्रदायिक दावे से वायरल

बूम ने पाया कि कर्नाटक के रायचूर में हुई इस घटना में सांप्रदायिक एंगल नहीं है. रायचूर पुलिस ने बूम से बताया कि पथराव करते आरोपी युवक मुस्लिम समुदाय से नहीं हैं और मामला आपसी विवाद का था.

By -  Jagriti Trisha |

8 Sept 2025 4:12 PM IST

सोशल मीडिया पर गणेश जुलूस पर मुस्लिमों द्वारा पथराव के सांप्रदायिक दावे के साथ एक वीडियो वायरल है.

बूम ने जांच में पाया कि वीडियो के साथ किया जा रहा सांप्रदायिक दावा भ्रामक और गलत है. मामला कर्नाटक के रायचूर जिले का है, जहां दो गुटों के आपसी रंजिश के चलते पथराव की ये घटना हुई थी. रायचूर पुलिस ने बूम से सांप्रदायिक दावे का खंडन करते हुए बताया कि इसमें शामिल आरोपी मुस्लिम समुदाय से नहीं आते हैं.

गौरतलब है कि देश में 27 अगस्त से 6 सितंबर तक गणेशोत्सव मनाया गया. कर्नाटक सहित देश के कई हिस्सों से गणेश विसर्जन के दौरान छिटपुट हिंसा की खबरें भी सामने आईं. इसी कड़ी में यह वीडियो भी सांप्रदायिक दावे के साथ वायरल हो रहा है.

क्या है वायरल?

करीब 45 सेकंड के इस वीडियो में दो लोग एक छत से गणेश चतुर्थी के जुलूस पर पत्थर फेंकते नजर आ रहे हैं.

एक्स (आर्काइव लिंक) और फेसबुक (आर्काइव लिंक) जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर कुछ यूजर्स दावा कर रहे हैं कि ये लोग मुस्लिम समुदाय से हैं और शोभायात्रा के दौरान गणेश प्रतिमा पर पत्थर मार रहे हैं. 

एक एक्स पोस्ट में एक यूजर ने इसी सांप्रदायिक दावे के साथ इसे कर्नाटक के रायचूर में हुई घटना बताया. (आर्काइव लिंक)

पड़ताल में क्या मिला?

पड़ताल के दौरान हमने पाया कि कर्नाटक के रायचूर में हुई इस घटना में कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं था. आपसी विवाद के चलते दो स्थानीय गुटों के बीच यह झड़प हुई थी.

वायरल वीडियो रायचूर का है

वीडियो को ध्यान से देखने पर इसमें 'श्री साईं टैटू स्टूडियो' नाम की एक दुकान दिखती है.

गूगल मैप पर रायचूर स्थित इस शॉप को जियो लोकेट करने पर हमने पाया कि स्ट्रीट व्यू के विजुअल वायरल वीडियो के विजुअल से मेल खाते हैं. इससे साफ था कि वीडियो कर्नाटक के रायचूर जिले का है. बूम से बातचीत में इस शॉप के ओनर ने भी लोकेशन की पुष्टि की.

घटना में नहीं है सांप्रदायिक एंगल

इसके बाद हमने कन्नड़ कीवर्ड की मदद से इस घटना से जुड़ी मीडिया रिपोर्ट्स की तलाश की. Sanjevani News नाम के एक यूट्यूब चैनल ने इस वीडियो को शेयर करते हुए इसे दो गुटों के बीच हुई आपसी झड़प का बताया.

टीवी9 कन्नड़, कन्नड़प्रभा, Varthabharati और पब्लिक टीवी की रिपोर्ट के अनुसार रायचूर में गणेश शोभायात्रा के दौरान दो युवकों ने एक छत से पत्थरबाजी की, जिसमें विनय और गणेश नाम के दो लोग घायल हो गए.

घटना के बाद वहां मौजूद लोगों ने प्रशांत और प्रवीण नाम के दोनों आरोपियों को पुलिस के हवाले कर दिया. इनके खिलाफ रायचूर के सदर बाजार थाने में रिपोर्ट दर्ज की गई. प्रशांत और प्रवीण ने पुलिस के सामने कबूल किया कि उन्होंने पुरानी रंजिश के चलते अपने इलाके से शोभायात्रा को गुजरने से रोकने के लिए पथराव किया था.

लगभग सभी खबरों में वायरल वीडियो के विजुअल देखें जा सकते हैं. इनमें कहीं भी सांप्रदायिक एंगल का जिक्र नहीं किया गया है. 

रायचूर पुलिस ने भी किया वायरल दावे का खंडन

बूम ने पुष्टि के लिए रायचूर पुलिस से भी बात की. रायचूर एसपी पुट्टमदैया एम ने बूम से बातचीत में सांप्रदायिक दावे का खंडन करते हुए बताया, "घटना में कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं था. इसमें शिकायतकर्ता विनय कुमार हैं, जो कि एसटी समुदाय से आते हैं. वहीं, तीन आरोपियों के नाम प्रशांत, पवन और अनिल कुमार हैं."

उन्होंने आगे बताया, "मामला 31 अगस्त का है. दो स्थानीय गुटों के बीच आपसी रंजिश के चलते एक पक्ष ने अपने इलाके से गणेश शोभायात्रा को नहीं ले जाने देने के लिए पथराव किया था."



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