सोशल मीडिया पर दैनिक भास्कर अखबार की एक कथित पेपर क्लिप वायरल है. वायरल पेपर क्लिप में यह दावा किया गया है कि दैनिक भास्कर के मेगा सर्वे में 10 राज्यों में इंडिया गठबंधन आगे है और भाजपा शासित राज्यों में प्रधानमंत्री मोदी के प्रभाव में कमी आई है.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल पेपर क्लिप फर्जी है. दैनिक भास्कर के राष्ट्रीय संपादक एलपी पंत ने एक्स पर पोस्ट कर बताया कि दैनिक भास्कर ने ऐसा कोई सर्वे नहीं करवाया है. भास्कर के मास्टहेड का इस्तेमाल कर फर्जी सर्वे चलाया गया है.
आपको बताते चलें कि देश भर में 19 अप्रैल से लोकसभा के चुनाव होने हैं, जिसके नतीजे 4 जून को घोषित किए जाएंगे. गौरतलब है कि लोकसभा के चुनाव जैसे-जैसे नजदीक आ रहे हैं वैसे-वैसे इससे संबंधित फर्जी और भ्रामक खबरें सोशल मीडिया पर खूब शेयर की जा रही हैं. पार्टी विशेष के समर्थक भी इन तमाम फर्जी खबरों को सच मानकर शेयर कर रहे हैं. इस क्रम में यह पेपर क्लिप भी वायरल है.
13 अप्रैल के दैनिक भास्कर के इस कथित पेपर क्लिप में बताया गया है कि दैनिक भास्कर के मेगा सर्वे के नतीजे में 10 राज्यों में इंडिया गठबंधन आगे है. इस क्लिप में आगे बताया गया, 'प्रतिष्ठित नीलसन मीडिया कंपनी और दैनिक भास्कर ने जनता की भावनाओं को मापने के उद्देश्य से देश भर में एक व्यापक सर्वेक्षण किया है.' इस सर्वे के नतीजों के मुताबिक, इंडिया गठबंधन दक्षिणी राज्यों में बहुमत हासिल कर सकता है साथ ही दिल्ली की सभी 7 लोकसभा सीटों पर भी जीत हासिल कर सकता है. इस सर्वे में एनडीए गठबंधन को पिछड़ता हुआ दिखाया गया और कहा गया कि बीजेपी शासित राज्यों में प्रधनामंत्री मोदी के प्रभाव में कमी आई है.
एक्स पर @SpiritOfCongres नाम के प्रो-कांग्रेस हैंडल ने इसको शेयर करते हुए लिखा, 'दैनिक भास्कर-नेल्सन सर्वे: 10 राज्यों में भारतीय गठबंधन आगे चल रहा है और अकेले इन 10 राज्यों में 200 का आंकड़ा पार कर सकता है. हिंदी पट्टी के राज्यों में भी मोदी की छवि बीजेपी को वोट दिलाने के लिए काफी नहीं है. एनडीए को बिहार, बंगाल और महाराष्ट्र से हार की आशंका है.'(अंग्रेजी से हिंदी अनुवाद).
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फेसबुक पर भी इस पेपर क्लिप को लगभग ऐसे ही दावों के साथ शेयर करते हुए एक यूजर लिखा, 'नेल्सन-दैनिक भास्कर का सर्वे... 2024 लोकसभा चुनाव में नहीं चलेगा मोदी का जादू, बीजेपी को बड़ा नुकसान होने की संभावना!.'
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फैक्ट चेक
वायरल दावे की सच्चाई जानने के लिए हमने सबसे पहले पेपर क्लिप में मेंशन डिटेल्स पर गौर किया. दैनिक भास्कर की यह कथित पेपर कटिंग 13 अप्रैल 2024 की भोपाल संस्करण की थी. हमने दैनिक भास्कर की वेबसाइट पर जाकर 13 अप्रैल का ई-पेपर निकाला. वहां हमें वायरल क्लिप जैसी कोई खबर तो नहीं मिली लेकिन इससे मिलता-जुलता एक पेज मिला, जिसमें सर्वे वाली खबर को छोड़कर क्लिप की अन्य खबरें मौजूद थीं.
हमने पाया कि वायरल पेपर क्लिप दैनिक भास्कर के 13 अप्रैल के अखबार के एक पेज को एडिट करके बनाया गया है. इस क्लिप में अखबार की अन्य खबरों को हुबहू रहने दिया गया है, सिर्फ सर्वे के हवाले से इंडिया गठबंधन की बढ़त दिखाने वाली खबर को अलग से जोड़ा गया है.
नीचे हमने वायरल पेपर क्लिप और दैनिक भास्कर के पेपर क्लिप की तुलना की है.
पुष्टि के लिए हमने दैनिक भास्कर के राष्ट्रीय संपादक एलपी पंत से भी संपर्क किया. उन्होंने बूम को बताया कि हमने ट्विट कर इसका खंडन किया है. वायरल पेपर क्लिप फर्जी है.
एक्स के एक पोस्ट में भी एलपी पंत ने इस पेपर क्लिप का खंडन करते हुए लिखा है, 'दैनिक भास्कर ने ऐसा कोई सर्वे नहीं करवाया है. भास्कर मास्टहेड का इस्तेमाल कर फर्जी सर्वे चलाया गया है. आपको भी शेयर करने से पहले इसकी प्रामाणिकता जांच लेनी चाहिए. दैनिक भास्कर आपकी इस पोस्ट पर कानूनी कार्रवाई करेगा.' हमने पाया कि पंत ने जिस पोस्ट पर यह रिप्लाई किया था वह अब एक्सिस्ट नहीं करता.
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