सिख के वेश में मुसलमान को पुलिस ने गिरफ़्तार किया? फ़ैक्ट चेक
बूम ने पाया की वीडियो 2011 में शूट हुआ था जब मोहाली में एक पुलिसकर्मी ने सिख प्रदर्शनकारी को पकड़ा और जबरदस्ती उसकी पगड़ी निकाल दी थी |
पुराना वीडियो जो वर्ष 2011 में मोहाली पंजाब में हुए वेट डॉक्टरों के एक प्रदर्शन का है, फ़र्ज़ी दावों के साथ वायरल हो रहा है | दावा किया जा रहा है की एक मुसलमान सिख के वेश में पुलिस द्वारा नागरिकता संशोधन विधेयक के ख़िलाफ प्रदर्शन करते हुए पकड़ा गया |
यह एक 15 सेकंड लम्बी वीडियो क्लिप है जो सोशल मीडिया पर वायरल है | इसमें देखा जा सकता है की एक सिख को पुलिसकर्मी और एक सुरक्षा गार्ड जबरदस्ती पकड़ते हैं और उसकी पगड़ी निकाल देते हैं | पगड़ी सिखों में धार्मिक मानता के आधार पर पहनी जाती है | इसके साथ अंग्रेजी में कैप्शन लिखा गया है जिसमें लिखा है: "मुसलमान सिख का वेश रखकर यह दिखा रहा है की सिख नागरिकता संशोधन विधेयक के ख़िलाफ हैं, फ़र्ज़ी प्रोपेगंडा"
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यह क्लिप भारत भर में हो रहे नागरिकता संशोधन विधेयक और प्रस्तावित राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर के विरोध प्रदर्शन के चलते वायरल हो रहा है | इस संशोधन के अंतर्गत पाकिस्तान, अफ़ग़ानिस्तान और बांग्लादेश से छः गैर-मुस्लिम समुदायों को नागरिकता देने का प्रावधान है | आलोचकों का कहना है की यह भेदभावपूर्ण और भारत के संविधान के ख़िलाफ है |
बूम को यह हेल्पलाइन (7700906111) पर भी प्राप्त हुआ जहाँ इसकी सच्चाई की जानकारी मांगी गयी है |
व्हाट्सएप्प पर दावा है: "सिख बनकर दंगा कर रहा था शांतिदूत देखिये| ऐसे ही यह लोग हिन्दू बनकर हिन्दुओं को आपस में लड़ाते हैं और बदनाम करते हैं| सावधान"
फ़ेसबुक पर वायरल हो रहे वीडियो को नीचे देखें और इसके आर्काइव्ड वर्शन को यहाँ देखें |
यह वीडियो समान दावों के साथ ट्विटर पर भी वायरल है |
Muslim Using fake sikh sardar face to show that sikh are against #CAA Fake propaganda... pic.twitter.com/h2UL0aH9jv
— आफरीन फातिमा 🛡️ (@Afraoo7) December 26, 2019
फ़ैक्ट चेक
बूम ने एक कीफ्रेम के साथ रिवर्स इमेज सर्च किया और सिखनेट.कॉम द्वारा 2011 में प्रकाशित एक लेख पाया| इस लेख में समान वीडियो का एक स्क्रीनशॉट इस्तेमाल हुआ था |
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लेख के अनुसार, "एक सिख युवक छंटे हुए पशुचिकित्षकों और कर्मियों द्वारा किये जा रहे शांतिपूवर्क विरोध के दौरान पुलिसकर्मी द्वारा खींचा गया और जबरदस्ती उसकी पगड़ी निकाल दी गयी| पुलिसकर्मी जो इस कृत्य के लिए जिम्मेदार था वो मोहाली फ़ेस 8 में पदस्थ स्टेशन हाउस अफसर सब इंस्पेक्टर कुलभूषण था जिसने पगड़ी मोहाली पुलिस अधीक्षक प्रीतम सिंह के कहने पर यह किया| उस युवक ने निवेदन किया था की उसकी पगड़ी को न छुएं|"
इस लेख ने हमें सालों पुराने इसी वीडियो क्लिप तक भी पहुंचाया|
टाइम्स ऑफ़ इंडिया के एक लेख के अनुसार, मार्च 2011 के आख़िरी हफ़्ते में मोहाली में एक बड़ा आक्रामक प्रदर्शन हुआ था| यह उस वक़्त का है जब पुलिस और वेट डॉक्टरों के बीच झड़प हुई थी| डॉक्टरों को स्थाई नौकरी चाहिए थी जो तब कॉन्ट्रैक्ट पर थी|
यह प्रदर्शन भारत पाकिस्तान के क्रिकेट मैच के पहले हुआ था जो मोहाली के पी.सी.ए स्टेडियम में होने वाला था|
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इस प्रदर्शन के बारे में इंडियन एक्सप्रेस का लेख यहाँ पढ़ें| हमें एक और वीडियो मिला जो यूट्यूब पर 8 साल पहले अपलोड हुआ था|