श्रीलंका में अगवा हुई युवती का वीडियो भारत में सांप्रदायिक दावे से वायरल
बूम ने पाया कि यह घटना श्रीलंका के गेलियोया की है, जहां पारिवारिक विवाद के चलते एक 18 वर्षीय स्कूली छात्रा का अपहरण कर लिया गया था. भारतीय सोशल मीडिया यूजर युवती को बचाने की कोशिश कर रहे व्यक्ति की पहचान गलत तरीके से हर्षवर्धन के रूप में कर रहे हैं.

श्रीलंका में अगवा हुई एक युवती का वीडियो सोशल मीडिया पर भ्रामक सांप्रदायिक दावे से वायरल हो रहा है. यूजर इसके साथ कह रहे हैं कि दो मुस्लिम युवक आयशा नाम की इस लड़की का अपहरण कर रहे थे, जिसे उस वक्त वहां से गुजर रहे हिंदू शख्स हर्षवर्धन ने बचा लिया.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि यह घटना श्रीलंका के गेलियोया की है, जहां पारिवारिक विवाद के चलते एक 18 वर्षीय स्कूली छात्रा का अपहरण कर लिया गया था. श्रीलंकाई पुलिस ने पीड़िता को दो दिन बाद रेस्क्यू कर लिया था.
भारतीय सोशल मीडिया यूजर युवती को बचाने की कोशिश कर रहे व्यक्ति की पहचान गलत तरीके से हर्षवर्धन के रूप में कर रहे हैं.
सोशल मीडिया पर क्या है दावा!
एक्स (आर्काइव लिंक) और फेसबुक (आर्काइव लिंक) जैसे माध्यमों पर वायरल हो रहे इस वीडियो में एक शख्स लड़की को एक वैन के अंदर जबरन बिठा रहा है वहीं एक दूसरा आदमी उसे बचाने की कोशिश करता नजर आ रहा है.
यूजर इस वीडियो को शेयर करते हुए कैप्शन में लिख रहे हैं, 'अफरोज और इमरान ने आयशा नाम की लड़की का अपहरण करने की कोशिश की..उसी समय वहां से गुजर रहे हर्षवर्धन ने अपनी जान जोखिम में डालकर एक अनजान लड़की को बचा लिया..हर्षवर्धन घायल हैं लेकिन खतरे से बाहर हैं.'
पड़ताल में क्या मिला:
1. वीडियो श्रीलंका का है
वायरल वीडियो के कीफ्रेम्स को रिवर्स इमेज सर्च करने पर हमें श्रीलंकाई न्यूज आउटलेट Colombo Gazette के यूट्यूब चैनल पर एक रिपोर्ट मिली. यहां यह वीडियो 12 जनवरी 2025 को अपलोड किया गया था और बताया गया था कि घटना गेलियोया की है.
संबंधित कीवर्ड सर्च करने पर हमें इस घटना से जुड़ी Asian Mirror और Colombo Gazette की जनवरी 2025 की कई खबरें मिलीं, जिनमें बताया गया था कि विवाह प्रस्ताव ठुकराए जाने के बाद इस 18 वर्षीय लड़की का अपहरण कर लिया गया था. Ada Derana की रिपोर्ट में कहा गया कि लड़की मुस्लिम समुदाय से थी और कथित तौर पर उसके रिश्तेदार ने उसका अपहरण किया था.
कोलंबो गजट के 13 जनवरी के एक फेसबुक पोस्ट में बताया गया था कि पुलिस ने अपहरण के दो दिन बाद लड़की को बचा लिया था.
2. इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं था
बूम ने अपनी जांच के दौरान श्रीलंकाई फैक्ट-चेकिंग संस्था फैक्टसीकर से संपर्क किया, जिसने हमारे साथ Lankasri News की 13 जनवरी 2025 की प्रकाशित एक न्यूज बुलेटिन साझा की. इसमें बीच-बचाव करने वाले युवक को मामूली चोटों के साथ अपना अनुभव साझा करते हुए देखा जा सकता है.
इससे संकेत लेते हुए हमने रिवर्स इमेज सर्च किया. इसके जरिए हमें न्यूजवायर की 13 जनवरी 2025 की एक इंस्टाग्राम पोस्ट मिली, जिसमें उस व्यक्ति की पहचान मोहम्मद इसादीन अरशद अहमद के रूप में की गई थी. इसके अंग्रेजी कैप्शन में लिखा था, "श्रीलंका पुलिस ने दाउलागला में एक स्कूली छात्रा को अगवा होने से बचाने की बहादुरी के लिए 25 वर्षीय मोहम्मद इसादीन अरशद अहमद की सराहना की है."
तब Asian Mirror ने भी मोहम्मद इसादीन द्वारा लड़की को बचाने की कोशिश से संबंधित खबर प्रकाशित की थी.



