अलवर में मुस्लिमों द्वारा हिन्दू परिवार पर हमले के फ़र्ज़ी सांप्रदायिक दावे से वीडियो वायरल
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो राजस्थान के अलवर में एक ही परिवार (हिन्दू ) में हुए आपसी झगड़े का है. इसमें किसी तरह का कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं हैं.
सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें कुछ लोग लाठी-डंडों से निहत्थे लोगों पर हमला करते नज़र आ रहे हैं. वीडियो को राजस्थान के अलवर का बताते हुए दावा किया जा रहा है कि मुस्लिम व्यक्तियों ने हिंदुओं के घर पर हमला कर उन्हें लाठी-डंडों से पीटा.
सोशल मीडिया यूज़र्स वायरल दावे को वास्तविक मानकर कार्रवाई करने की अपील करते हुए वीडियो को शेयर कर रहे हैं.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल दावा फ़र्ज़ी है. वीडियो में नज़र आ रहे दोनों पक्ष एक ही परिवार के सदस्य हैं. इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है.
फ़ेसबुक पर एक यूज़र ने वीडियो शेयर करते हुए लिखा, “अलवर में अधर्मिओं ने हिंदुओं को घरों में घुस कर लाठी डंडों से मारा, ये वीडियो सब ग्रुपों में जल्दी से जल्दी डालना. आज का आज बुलडोजर घुमाना चाहिए राजस्थान सरकार को."
इसी दावे से वीडियो को अनेक यूज़र्स ने शेयर किया है, जिसे यहां, यहां और यहां देखा जा सकता है.
इस वीडियो के साथ किये जा रहे दावे को फैक्ट चेक करने के अनुरोध से यह बूम को हिंदी और अंग्रेजी दोनों कैप्शन से प्राप्त हुआ.
एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर भी अनेक लोगों ने वीडियो को मुसलमानों से जोड़ते हुए शेयर किया है. यहां देखें.
फ़ैक्ट चेक
बूम ने सबसे पहले वायरल दावे से सम्बंधित कीवर्ड्स की मदद से सर्च किया तो कई मीडिया रिपोर्ट्स मिलीं. राजस्थान पत्रिका की एक सप्ताह पहले की रिपोर्ट में वायरल वीडियो से मिलता-जुलता वीडियो देखा जा सकता है. रिपोर्ट के मुताबिक़, राजस्थान के अलवर ज़िले में थानागाजी कस्बे के समीप खाकस्या की ढाणी में गुरुवार देर शाम पुस्तैनी जमीन, मकान व रंजिश को लेकर एक ही परिवार के दो पक्षों में हुआ झगड़ा खूनी संघर्ष में बदल गया. जिसमें दोनों पक्षों से एक दर्जन से अधिक महिला-पुरुष बच्चे घायल हो गए.
इसकी मदद से सर्च करने पर 19 जनवरी 2024 की हिंदुस्तान की रिपोर्ट मिली. रिपोर्ट के अनुसार, थानागाजी के समीप खकस्या की ढाणी में पुरानी रंजिश के चलते एक दर्जन बदमाशों ने एक परिवार पर लाठी-डंडों से हमला कर दिया. झगड़े में एक दर्जन से अधिक महिला-पुरुष और लड़कियां घायल हो गए. घायलों को अस्पताल में भर्ती किया गया है. रिपोर्ट में विवाद का कारण जमीन बतायी गई है.
19 जनवरी 2024 की दैनिक भास्कर की रिपोर्ट के इस घटना का विस्तृत वर्णन किया गया है. रिपोर्ट में बताया गया कि एक ही परिवार के लोगों में पुश्तैनी मकान को लेकर झगड़ा हो गया. रिपोर्ट में मौजूद वीडियो हुबहू वायरल वीडियो के समान है. रिपोर्ट के अनुसार, चीमा की ढाणी निवासी 70 वर्षीय रामस्वरूप के परिजनों ने बताया कि रामस्वरूप के छोटे भाई की पत्नी बदामी देवी और उनके बेटे व पोते पुराने मकान पर कब्जा करना चाहते हैं. पहले भी मारपीट करने की धमकी दिए थे जिसे लेकर 2 जनवरी को थानागाजी थाने में और अलवर एसपी को शिकायत दी थी. लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई
आरोपियों के हमले में रामस्वरूप, रोहिताश, कृपा देवी, मिश्रो देवी, बिरमा शर्मा, टेकचंद, खुशबु शर्मा, उमा शंकर घायल हो गए. रिपोर्ट में आरोपी बादामी देवी के परिवार के जितेंद्र, सतीश, योगेश उर्फ सूगला, तुलसी, रामभरोसा उर्फ बच्चा, गजन, गजेंद्र, गिरीराज, नरेश, गोपाल, सुमन, पूजा, सुनीता उर्फ धोली, बदामी, अंचल सहित कुल लोग 18 लोग बताये गए हैं.
वहीं रिपोर्ट में स्थानीय थानाअधिकारी राजेश मीणा के हवाले से बताया गया है कि "झगड़े का कारण मकान पर कब्जे को लेकर विवाद है. अभी दोनों पक्षों की ओर से मामला दर्ज नहीं करवाया गया है. पुलिस ने 7 लोगों को शांति भंग में गिरफ्तार किया है. ये दो परिवारों का झगड़ा है. रामस्वरूप व उसके भाई की पत्नी बादामी है. बादामी के बेटे व पौतों ने रामस्वरूप व उसके बेटे व परिवार के लोगों को पीटा है.
उपरोक्त किसी भी रिपोर्ट में सांप्रदायिक एंगल का कोई जिक्र नहीं है.
एक एक्स यूज़र द्वारा वायरल वीडियो पर अलवर पुलिस को टैग कर सत्यता की जांच करने को कहा गया. इस पोस्ट पर हमें अलवर पुलिस का जवाब मिला जिसमें हमले में शामिल पक्षों को एक ही हिन्दू परिवार का बताया गया और इसे ग़लत दावों के साथ फैलाने वालों पर कार्रवाई की चेतावनी दी.
आगे हमने स्थानीय पुलिस से संपर्क करने का प्रयास किया है. उनका जवाब मिलते ही स्टोरी को अपडेट किया जाएगा.
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