दिल्ली में 5 फरवरी को विधानसभा चुनाव 2025 के लिए मतदान हुआ. इसी दौरान नई दिल्ली विधानसभा सीट से आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी और पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल का एक पुराना क्रॉप्ड वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल रहा. इसमें वह कांग्रेस को वोट करने की अपील करते हुए नजर आए. यूजर्स ने इस वीडियो को हाल का मानकर सोशल मीडिया पर भ्रामक दावे से शेयर किया.
बूम ने जांच में पाया कि यह वीडियो 2017 में हुए पंजाब के विधानसभा चुनाव के दौरान का है. इसका दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 से कोई लेना-देना नहीं है.
फेसबुक पर एक यूजर ने इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा, ‘दिल्ली चुनाव के लिए केजरीवाल की अपील-वोट फॉर कांग्रेस.'
एक्स पर भी इसी दावे से यह वीडियो वायरल है.
दिल्ली चुनाव के लिए केजरीवाल की अपील-
— Akram Premiar (@akram_premiar) February 5, 2025
वोट फॉर कांग्रेस! pic.twitter.com/AIYdkr5mVf
फैक्ट चेक
बूम ने जब इस दावे की पड़ताल की तो पाया कि यह वीडियो पंजाब में फरवरी-मार्च 2017 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान का है.
बूम ने वायरल वीडियो के कुछ कीफ्रेम को गूगल लेंस से सर्च किया. हमें आम आदमी पार्टी पंजाब के आधिकारिक एक्स हैंडल पर 30 जनवरी 2017 को शेयर किया गया इसका एक बड़ा वीडियो मिला. वायरल वीडियो इसी से क्रॉप किया गया है.
यह वीडियो अरविंद केजरीवाल के फेसबुक पेज पर 30 जनवरी 2017 को लाइव रिकॉर्ड किया गया. इस वीडियो के साथ पोस्ट के कैप्शन में लिखा गया, 'RSS और अकाली दल ने कांग्रेस के पक्ष में अपने वोट ट्रांसफर करने शुरू कर दिए हैं.'
गौरतलब है कि पंजाब में फरवरी-मार्च 2017 में विधानसभा चुनाव हुए थे. यह वीडियो इसी चुनाव प्रचार के दौरान का है.
1 मिनट 50 सेकंड के इस वीडियो में अरविंद केजरीवाल कहते हैं कि इस चुनाव में आम आदमी पार्टी को वोट देना है क्योंकि शिरोमणि अकाली दल और बीजेपी का गठबंधन और कांग्रेस आपस में मिले हुए हैं. आरएसएस और अकाली दल के लोग घर-घर जाकर कांग्रेस को वोट देने की अपील कर रहे हैं क्योंकि यह लोग आम आदमी पार्टी को सत्ता में नहीं आने देना चाहते हैं.
हमने पाया कि उस समय चुनाव प्रचार के दौरान भी अरविंद केजरीवाल का यह क्रॉप्ड वीडियो भ्रामक दावे से शेयर किया गया था. तब उन्होंने 2 फरवरी 2017 को लाइव वीडियो के माध्यम से बताया था कि कांग्रेस उनके नाम से झूठा वीडियो चला रही है, उस पर यकीन ना करें.
पंजाब में फरवरी-मार्च 2017 में हुए इस चुनाव में कांग्रेस ने विधानसभा की 117 सीटों में 77 सीटों पर जीत हासिल कर अमरिंदर सिंह के नेतृत्व में सरकार बनाई थी. शिरोमणि अकाली दल और बीजेपी के गठबंधन को करारी हार मिली थी. वहीं आम आदमी पार्टी पहली बार पंजाब विधानसभा में मुख्य विपक्षी पार्टी बनी थी.