भाजपा में कोई अनिल उपाध्याय नाम का विधायक नहीं है, वायरल वीडियो के साथ दावे झूठे हैं
बूम ने पाया की अनिल उपाध्याय के हवाले से वायरल यह बयान असल में संत युवराज का बयान है
सोशल मीडिया पर फ़ैल रहे वीडिओज़ अक्सर झूठे दावे करते हैं | यह संभावना तब अधिक हो जाती है जब गैर आधिकारिक पेजेज़ और हैंडल्स इस तरह के दावे करते हैं | इस कड़ी में एक और वीडियो शामिल होगया है | इस 2 मिनट 54 सेकंड का वीडियो एक व्यक्ति के ऊपर केंद्रित है जिसे भाजपा से चयनित विधायक अनिल उपाध्याय बताया जा रहा है |
आपको बता दें की यह दावा झूठ है और इस नाम का कोई विधायक भाजपा में नहीं है |
वीडियो में बात कर रहा व्यक्ति दिल्ली न्यूज़ नामक किसी चैनल को बयान दे रहा है एवं तरह-तरह की राजनैतिक बातें कर रहा है | सफ़ेद कपड़े पहना यह व्यक्ति पाकिस्तान और भारत के संबंधों पर एक लम्बी चर्चा करता है |
आप वीडियो नीचे देख सकते हैं और इसका आर्काइव्ड वर्शन यहाँ देखें |
कौन है अनिल उपाध्याय?
यह और इस तरह के दावों के साथ कई वीडिओज़ वायरल होते रहे हैं | इन वीडिओज़ में अनिल उपध्याय का नाम बार बार सामने आता रहा है | बूम ने इन दावों पर पहले भी वास्तविकता की खोज की और कई लेख लिखे हैं |
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अनिल उपाध्याय के हवाले से पहले भी कई दावे वायरल हुए हैं जिनपर बूम ने लेख लिखे हैं | आप नीचे पढ़ सकते हैं |
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फ़ैक्ट चेक
बूम ने वीडियो को कीफ्रेम्स में तोड़ा और रिवर्स इमेज सर्च किया | हमें इस शख़्स से जुड़े कई समाचार लेख मिले जिसमें इस शख़्स की पहचान संत युवराज बताई गयी है | आज तक ने एक लेख में लिखा है: हरियाणा के फरीदाबाद में रहने वाली महिला का यौन शोषण करने वाला बाबा आखिरकार सलाखों के पीछे पहुंच ही गया. पुलिस ने मथुरा के तथाकथित संत युवराज को गिरफ्तार कर लिया. आरोपी बाबा को अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है |
इस लेख में युवराज की तस्वीर भी है जो वायरल वीडियो से मिलती है | यह ख़बर 3 नवंबर 2017 को प्रकाशित हुई थी |
इसके अलावा हमें वायरल हो रहे वीडियो का वास्तविक रूप भी मिला जिसमें शुरुआत में एंकर ने अपना और संत का परिचय देकर बातचीत शुरू की है | सोशल मीडिया पर इस भाग को काट दिया गया है एवं वायरल वीडियो सीधे बातचीत से शुरू किया गया है जहाँ इन्हें भाजपा का विधायक बता दिया गया है |
भाजपा में किसी विधायक का नाम अनिल उपाध्याय नहीं है
हमनें मायनेता वेबसाइट पर खोज की | इस वेबसाइट पर सारे नेताओं का व्योरा उपलब्ध है जिसे ए.डी.आर नामक एक संस्था चलाती है | ए.डी.आर का मतलब है एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स जिसे भारतीय प्रबंध संस्थान - अहमदाबाद के प्राध्यापकों द्वारा चलाया जाता है |
इस वेबसाइट पर खोज करने पर हमें दो अनिल उपाध्याय नामक नेता मिले जिनमें से एक राजस्थान में बसपा से चुने गए थे और दूसरे स्वतंत्र नेता थे जो 2012 एवं 2007 में उत्तरप्रदेश की दो अलग अलग सीटों पर चुने गए थे | इनमें से कोई भी नेता भाजपा से सम्बंधित नहीं हैं |