फ़ेसबुक पेज "WE SUPPORT NARENDRA MODI" पर फ़िर से एक फ़ेक पोस्ट वायरल हो रहा है | इस वायरल पोस्ट में तीन तस्वीरें शेयर की गयी हैं और ये दावा किया गया है: "असम के कांग्रेस नेता अमजात अली सेब की पेटी में हथियार और गोलियां के साथ मस्जिद से हिरासत में। हिंदुओं को मारने का कर रहा था प्लान। पुलिस ने दबोचा |" रिपोर्ट लिखे जाने तक पोस्ट करीब 6,596 बार शेयर किया जा चूका है और 2,600 से ज़्यादा रिएक्शंस पा चूका है | पोस्ट यहां देखें | इसी पोस्ट को एक करोड़ हिंदुओं का ग्रुप (एड होते ही 150 हिंदुओ को एड करो) जय श्री राम पर भी काफी शेयर्स मिलें हैं | इसी पोस्ट की एक तस्वीर को फ़ेसबुक यूज़र सचिन कुमार ने कुछ यूँ शेयर किया है: फैक्ट चेक बूम ने रिवर्स इमेज सर्च और गूगल की मदद से पता लगाया की पोस्ट की गयी तीन में से दो तस्वीरें तो एक ही घटना की हैं पर तीसरी तस्वीर का बाकी की तस्वीरों से कोई लेना देना नहीं है | हैंड ग्रेनेड्स और सेब की पेटी वाली तस्वीरें दरअसल कश्मीर से हैं | यह तस्वीर जम्मू कश्मीर पुलिस और संदिग्द्ध आतंकवादियों के बीच अक्टूबर 29 को हुए एक मुठभेड़ के बाद ली गयी है | इस मुठभेड़ में पुलिस ने तीन संदिग्द्ध आतंकवादियों को गिरफ्तार भी किया तथा उनकी कार में से सेब की पेटियाँ बरामद की जिनके अंदर फ़लों के आड़ में हैंड ग्रेनेड्स और बन्दुक की गोलियां छुपाई गई थी | इस खबर को कश्मीर के कई लोकल समाचारपत्रों ने तस्वीर के साथ प्रमुखता से छपा था | खबरें यहाँ और यहां पढ़ें | पी.टी.आई की खबर के लिए यहां क्लिक करें | अब आते हैं अन्य दो तस्वीरों पर | पहली तस्वीर, जिसमे एक मुस्लिम व्यक्ति का मगशॉट देखा जा सकता है और जिसे पोस्ट में कांग्रेस नेता अमजात अली बताया गया है, दरअसल एक पुरानी तस्वीर है | इस दावे का पता लगाने के लिए की क्या वाकई में असम पुलिस ने हाल फिलहाल में किसी कांग्रेस नेता को हिरासत में लिया है, बूम ने असम पुलिस मुख्यालय फ़ोन लगाया | वहां हमें पुलिस कण्ट्रोल रूम फ़ोन करने को कहा गया | पुलिस कण्ट्रोल से हुए बातचीत में हमें बताया गया की उनके (पुलिस डिपार्टमेंट) के पास अभी तक ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं आई है | "हमें ऐसी कोई भी खबर अभी तक नहीं मिली," कण्ट्रोल रूम ड्यूटी पर तैनात पुलिस वाले ने बूम को बताया | इसके बाद बूम ने असम प्रदेश कांग्रेस कमिटी के दफ्तर फ़ोन लगाया | हमारी बात असम के कांग्रेस एम.एल.ऐ और ऐ.पि.सी.सी. के सीनियर प्रवक्ता अब्दुल ख़ालिक़ से हुई | ख़ालिक़ ने कहा: "अमजात अली नाम से ऐसा कोई बड़ा नेता तो है नहीं असम कांग्रेस में | और मैंने पिछले कुछ दिनों के न्यूज़ रिपोर्ट्स में भी ऐसी कोई खबर नहीं पढ़ी |" फिर तस्वीरों में दिख रहा शख्स कौन है ? एक बार फ़िर से रिवर्स इमेज सर्च की मदद लेने पर हमें यही तस्वीरें कुछ क्षेत्रीय न्यूज़ वेबसाइट्स पर दिखीं | रिपोर्ट्स पढ़ने पर मालूम हुआ की ये तस्वीरें और इससे जुड़ी घटना बांग्लादेश के म्यमेंसिंग ज़िले के त्रिषाल उपज़िले से संबंद्धित है | यह घटना इसी साल मई महीने की है | पुलिस ने तस्वीर में दिख रहे व्यक्ति की शिनाख्त मोबारक मोबशीर हुसैन, एक मदरसे के टीचर, के रूप में की है | इसपर एक नाबालिग लड़की का यौन-उत्पीड़न करने का आरोप है | ज्ञात रहे की उक्त लड़की ने बाद में आत्महत्या कर ली जिसके उपरान्त बांग्लादेश पुलिस ने हुसैन को हिरासत में ले लिया था | ये तस्वीरें उस वक्त सोशल मीडिया में भी इसी खबर के साथ शेयर की गयी थीं | बांग्लादेशी अखबारों में भी यह खबर छप चुकी है | यहां पढ़ें | गैरतलब है की तस्वीर में दिख रहे पुलिसवालों ने जो वर्दी पहन रखी है वो बांग्लादेश पुलिस की ऑफिशियल वर्दी है | फैक्ट चेक से ये स्पष्ट हो जाता है की असम पुलिस ने किसी कांग्रेस लीडर को हैंड ग्रेनेड्स के साथ मस्जिद से नहीं 'धर दबोचा' है |
Our website is made possible by displaying online advertisements to our visitors. Please consider supporting us by disabling your ad blocker. Please reload after ad blocker is disabled.