नहीं, अमित शाह ने नहीं कहा कि वो भारत से बंगालियों को हटा देंगे
बूम ने पाया कि मूल हेडलाइन को फ़ोटोशॉप किया गया है और नकली बनाया गया है
बंगाली अखबार, आनंद बाजार पत्रिका में छपे एक लेख का स्क्रीनशॉट सोशल मीडिया पर फैल रहा है । लेख के साथ दावा किया जा रहा है कि गृह मंत्री अमित शाह ने देश से बंगालियों को बाहर निकालने की बात कही है । यह स्क्रीनशॉट फ़ोटोशॉप्ड है ।
आनंद बाजार पत्रिका में छपे लेख की हेडलाइन को फ़ोटोशॉप किया गया है । फेक हेडलाइन में लिखा गया है, "बंगालवासी जितने भी नोबेल जीतें लेकिन फिर भी हम उन्हें अभी भी देश से बाहर निकालेंगे ।"
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(बंगाली में – বাঙালি যতই নোবেল জিতুক বাঙালিকে দেশছাড়া করবই: আমিত শা)
नकली कोट भारतीय-अमेरिकी अर्थशास्त्री और मेसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के प्रोफेसर अभिजीत बनर्जी को नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किए जाने के बाद वायरल हो रहा है । बनर्जी 2019 के अर्थशास्त्र में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित होने वाले तीन अर्थशास्त्रियों में से एक है ।
फ़ैक्ट चेक
वायरल हेडलाइन से शब्दों का इस्तेमाल कर बूम ने आनंद बाजार की वेबसाइट पर एक कीवर्ड खोज की और पाया कि 30 जनवरी, 2019 को प्रकाशित लेख के मूल हेडलाइन को एडिट किया गया है । मूल हेडलाइन बंगाली में है जिसका हिंदी अनुवाद है, "लोकसभा चुनाव परिणाम के दिन राज्य सरकार गिर जाएगी: अमित शाह"।
(बंगाली में - “লোকসভার ফলের দিনই রাজ্যে সরকার পড়বে: অমিত শাহ” )
शाह ने 2019 के लोकसभा चुनावों के लिए प्रचार करते हुए पश्चिम बंगाल के कांठी, पूर्वी मिदनापुर में बयान दिया था । इसके अतिरिक्त हमने देखा कि शाह की बंगाली वर्तनी नकली हेडलाइन में ग़लत लिखी थी ।