POK में पाकिस्तानी रेंजर्स पर पत्थरबाजी का वीडियो भारत का बताकर वायरल
बूम ने पाया कि यह वीडियो मई 2024 में पीओके के मुजफ्फराबाद में पाकिस्तानी रेंजर्स और स्थानीय लोगों के बीच हुए संघर्ष का है.



भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच एक घाटी से गुजरते वाहनों के काफिले का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है. वीडियो में कुछ लोग वाहनों पर पत्थर मारते हुए दिखाई दे रहे हैं. वीडियो के साथ यूजर दावा कर रहे हैं कि जम्मू-कश्मीर के स्थानीय लोग भारतीय सुरक्षाबलों (CRPF और CISF) पर पत्थर फेंक रहे हैं.
बूम ने पाया कि यह वीडियो मई 2024 में पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) के मुजफ्फराबाद का है जहां स्थानीय जनता का रेंजर्स से संघर्ष हो गया था. इसका हालिया पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले, उस पर भारत की जवाबी कार्रवाई और इसके बाद दोनों देशों के बीच पैदा हुए तनाव से कोई लेना-देना नहीं है.
इंस्टाग्राम पर एक यूजर ने वीडियो शेयर करते हुए लिखा, 'वीडियो जम्मू-कश्मीर राज्य की है, पाकिस्तान के साथ युद्ध के दौरान सुरक्षाबल की कम्पनी बॉर्डर पर आर्मी कैंप में आर्मी के साथ ड्यूटी करने के लिए गयी थी जिस से भारतीय सेना को किसी भी प्रकार की समस्या न हो. युद्ध विराम के बाद CRPF, CISF की कंपनी वापस लौट रही थी तभी कुछ देश के गद्दारों ने सुरक्षाबल के काफिले पर हमला कर दिया.'
फेसबुक पर भी इसी दावे से यह वीडियो वायरल है.
दावे की सत्यता की पड़ताल के लिए बूम की टिपलाइन (+917700906588) पर भी हमें यह वीडियो प्राप्त हुआ.
फैक्ट चेक
बूम ने दावे की पड़ताल के लिए वायरल वीडियो को गूगल लेंस से सर्च किया. हमें सोशल मीडिया पर कई यूजर्स के पोस्ट मिले जिसमें इसे पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) का बताया गया था.
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म Reddit पर एक यूजर ने पिछले साल यह वीडियो शेयर किया था, जिसके रिप्लाई में बताया गया कि वीडियो मुजफ्फराबाद के लोहार गली का है.
इंस्टाग्राम पर शेयर किए गए इसी वीडियो में 13 मई 2024 की तारीख अंकित थी. पोस्ट के कैप्शन में मुजफ्फराबाद में आजाद कश्मीरी और पाक रेंजर्स के बीच हुए संघर्ष जिक्र किया गया.
पाकिस्तानी रेंजर्स (Pakistani Rangers) एक अर्धसैनिक बल (paramilitary force) है जो पाकिस्तान में सीमा सुरक्षा और आंतरिक सुरक्षा सुनिश्चित करने का काम करता है.
इसी से संकेत लेकर संबंधित कीवर्ड से गूगल पर सर्च करने पर हमें कई मीडिया आउटलेट पर इस घटना की न्यूज रिपोर्ट मिलीं. कश्मीर टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, 13 मई 2024 मुजफ्फराबाद के आसपास के क्षेत्रों में स्थानीय निवासियों और पाकिस्तानी रेंजर्स के बीच झड़प हो गई थी. इस दौरान पाकिस्तानी रेंजर्स की गोलीबारी में तीन स्थानीय नागरिकों की मौत हो गई जबकि तीन रेंजर्स सहित सात अन्य लोग घायल हो गए थे.
इंडिया टुडे की 14 मई 2024 की रिपोर्ट में तीन स्थानीय नागरिकों की मौत की पुष्टि करते हुए बताया गया कि रेंजर्स का 19 वाहनों वाला काफिला मुजफ्फराबाद पहुंचा, जहां शोरां द नक्का गांव के पास उन पर पथराव किया गया. इसके जवाब में सुरक्षाकर्मियों ने आंसू गैस के गोले छोड़े और गोलियां चलाईं.
वीपीएन की मदद से हमें वायरल वीडियो वाले विजुअल के साथ पाकिस्तानी मीडिया आउटलेट पर भी इसकी रिपोर्ट मिली जिसमें पीओके को आजाद कश्मीर बताया गया है.
जिओ टीवी की वेबसाइट के अनुसार, पीओके में हुए विरोध प्रदर्शनों के दौरान रेंजर्स के खिलाफ पत्थरबाजी और हिंसा की घटनाओं के कई वीडियो सामने आए. रिपोर्ट में लिखा गया कि मुजफ्फराबाद में बिजली और आटे की बढ़ती कीमतों के विरोध में हुए प्रदर्शन के दौरान आंदोलनकारियों ने रेंजर्स के खिलाफ नारेबाजी की और पहाड़ों से पत्थर भी फेंके. उपद्रवियों ने रेंजर्स के दो वाहन भी जला दिए.
डॉन न्यूज के यूट्यूब चैनल पर शेयर किए गए वीडियो में भी वायरल विजुअल देखे जा सकते हैं.
इसके बाद हमने Reddit यूजर द्वारा बताई गई लोकेशन 'लोहार गली, मुजफ्फराबाद' को भी गूगल मैप पर सर्च करने पर पाया कि यह वही जगह है जो वायरल वीडियो में दिख रही है.