बंगाल में महिला की हत्या का मामला गलत सांप्रदायिक दावे से वायरल
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वीडियो के साथ किया जा रहा सांप्रदायिक दावा गलत है. कोलकाता की इस घटना में मृतका और हत्या की आरोपित महिला रिश्तेदार हैं और अलग-अलग धर्मों से नहीं है.



सोशल मीडिया पर बंगाल में सूटकेस में मिली लाश का वीडियो गलत सांप्रदायिक दावे के साथ वायरल है. वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि बंगाल में अकरम नाम के युवक ने शादी का झांसा देकर हिंदू युवती को मौत के घाट उतार दिया.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल दावा गलत है. मामले की जांच कर रहे थाना प्रभारी ने बूम को बताया कि इस घटना में हत्या की आरोपित फाल्गुनी घोष नाम की महिला है. इस घटना की जांच में पुलिस को कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं मिला है.
वायरल वीडियो में एक नीले रंग के ट्रॉली बैग को देखा जा सकता है. बैग को खोलने पर उसमें कपड़ों के बीच मानव अवशेष नजर आ रहे हैं.
एक फेसबुक पेज ने इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा है, 'बंगाल में अकरम ने शादी का झांसा देकर हिंदू लड़की को उतारा मौत के घाट'
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर भी यह वीडियो इसी दावे के साथ वायरल है. आर्काइव लिंक
फैक्ट चेक
वायरल दावे की जांच के लिए हमने वीडियो के की-फ्रेम को गूगल पर रिवर्स इमेज सर्च किया. सर्च के दौरान हमें वायरल वीडियो से संबंधित इंडियन एक्सप्रेस की वीडियो रिपोर्ट यूट्यूब पर मिली.
रिपोर्ट से हमें ज्ञात हुआ कि कोलकाता में फाल्गुनी घोष और आरती घोष नाम की 2 महिलाओं को एक ट्रॉली बैग को गंगा में फेंकने का प्रयास करते हुए गिरफ्तार किया गया. रिपोर्ट के अनुसार, बैग में एक महिला की लाश थी.
इसके बाद हमने संबंधित की-वर्ड से गूगल पर सर्च किया. सर्च के दौरान हमें घटना से संबंधित मीडिया रिपोर्ट्स मिलीं
टेलीग्राफ की 25 फरवरी की रिपोर्ट के अनुसार, मंगलवार की सुबह उत्तरी कोलकाता स्थित कुमारटोली घाट पर दो महिलाओं को एक ट्रॉली बैग के साथ देखा गया. महिलाओं के संदिग्ध व्यवहार को देखने के बाद आस-पास मौजूद लोगों ने महिलाओं से पूछताछ की.
जब महिलाओं ने बैग के बारे में जानकारी देने में आनाकानी की तब स्थानीय लोगों ने पुलिस को सूचित कर दिया. मौके पर पहुंची पुलिस ने जब बैग खुलवाया तब पता चला कि बैग में महिला की लाश है.
इंडिया टुडे की रिपोर्ट में पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, मृतका की पहचान 55 वर्षीय सुमिता घोष के रूप में हुई है. हत्या करने वाली महिला की पहचान फाल्गुनी घोष के रूप में हुई है, वारदात में फाल्गुनी के साथ उसकी मां आरती घोष भी शामिल थी.
रिपोर्ट के मुताबिक, हत्या करने वाली महिला फाल्गुनी घोष ने पुलिस को बताया कि मृतका उसके ससुर की बहन (बुआ) है.
कोलकाता पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी द्वारा इंडिया टुडे को दी गई जानकारी के अनुसार, सोमवार की शाम फाल्गुनी और सुमिता के बीच तीखी नोंक-झोंक हो गई थी, फाल्गुनी ने सुमिता को दीवार पर धक्का देकर मारा जिससे सुमिता बेहोश हो गई, जब सुमिता को होश आया तब दोनों के बीच जोरदार लड़ाई हुई. इस दौरान फाल्गुनी ने सुमिता के चेहरे और गले पर पर ईंट से वार कर दिया, जिससे सुमिता की मौत हो गई.
रिपोर्ट से हमें ज्ञात हुआ कि घटना के संबंध में कोलकाता के नॉर्थ पोर्ट पुलिस स्टेशन में अप्राकृतिक मौत का मामला दर्ज हुआ था. वायरल सांप्रदायिक दावे की जांच के लिए हमने नॉर्थ पोर्ट पुलिस स्टेशन में भी संपर्क किया. स्टेशन के पुलिस कर्मचारी ने हमें बताया कि यह मामला मध्यमग्राम पुलिस स्टेशन (जिला- बारासात) में ट्रांसफर कर दिया गया है.
पुलिस ने सांप्रदायिक दावे का खंडन किया है
बूम ने मध्यमग्राम थाने में संपर्क किया, थाना प्रभारी सतिनाथ चट्टोराज ने बूम को बताया कि इस घटना में कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है. मामले की जांच चल रही है. मृतका और हत्या की आरोपित महिला अलग-अलग धर्मों से नहीं है.