‘अग्निपथ योजना’ को ‘सैनिक सम्मान योजना’ में बदले जाने के दावे से वायरल पत्र फर्जी है
बूम ने अपने अपने फैक्ट चेक में पाया कि 'अग्निपथ योजना' को बदल कर 'सैनिक सम्मान योजना' किए जाने का दावा झूठा है. सरकार ने इस तरह का कोई नोटिफिकेशन जारी नहीं किया है.
अग्निपथ योजना में बदलाव किए जानेे के दावे से एक फर्जी नोटिस पत्र सोशल मीडिया पर वायरल है. यूजर्स दावा कर रहे हैं कि सरकार इस सेवा में कुछ प्रमुख बदलाव (जैसे कि 4 साल की जगह 7 साल तक नौकरी) कर इसे फिर से लॉन्च करने जा रही है.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि दावा गलत है. पीआईबी फैक्ट चेक ने इसे पूरी तरह से फर्जी बताया है. सरकार ने इस तरह का कोई नोटिफिकेशन जारी नहीं किया है.
गौरतलब है कि जून 2022 में सरकार ने अग्निपथ योजना लॉन्च की थी. योजना के तहत 17.5 साल से 21 साल के युवाओं को भारतीय सेना में कुछ पदों पर 4 साल के लिए सेवा करने का अवसर मिलता है. इस योजना के तहत सेना में शामिल होने वाले जवानों को 'अग्निवीर' कहा जाता है.
लोकसभा चुनाव 2024 के प्रचार अभियान के दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा था कि हम सत्ता में आए तो अग्निवीर योजना खत्म कर देंगे. वहीं इंडियन एक्सप्रेस ने सूत्रों के हवाले से 13 जून 2024 की अपनी न्यूज रिपोर्ट में बताया कि भारतीय सेना सैन्य भर्ती के लिए अग्निपथ योजना में संभावित बदलावों पर चर्चा कर रही है. इसमें नियमित सैनिकों को रिटेन करने के 25 प्रतिशत से बढ़ाकर 60-70 प्रतिशत करने और उनकी सेवा अवधि को 4 के बजाए 7 वर्ष करने पर विचार विमर्श कर रही है.
वायरल नोटिस पत्र अंग्रेजी में है. इसमें लिखा है कि अग्निपथ योजना में बदलाव किए जाने की मांग की समीक्षा करने के बाद अब अग्निपथ योजना को सैनिक सम्मान योजना में बदल दिया गया है. इसके साथ ही 4 साल की सेवा के बाद अग्निवीरों को स्थायी रूप से नियुक्त करने की संख्या 25% को बढ़ाकर 60% करने का दावा किया गया है.
फेसबुक पर एक यूजर ने नोटिस पत्र शेयर करते हुए लिखा, 'लोकसभा चुनावों में घटती सीटें देखकर सरकार बैकफुट पर आ गई है. सरकार अब अग्निपथ का नाम सैनिक सम्मान योजना करने जा रही है जिसमें 4 साल की जगह अब 7 साल तक नियुक्ति रहेगी. पक्की नौकरी भी 25% से बढ़ाकर 60% की जाएगी. शहीद होने पर परिवार को पेंशन भी दी जाएगी.'
एक एक्स यूजर ने नोटिस पत्र शेयर करते हुए लिखा, 'सूत्रों के हवाले से इस वक्त की सबसे बड़ी खबर, 'अग्निपथ योजना को अब सैनिक सम्मान योजना के नाम से जानेंगे. अब इन सैनिकों का कार्यकाल 4 साल से बढ़ा कर 7 साल करने का प्रस्ताव किया गया है. अब 25 की बजाय 60% को Permanent करने का प्रावधान किया गया है.Technical वाले सभी सैनिक भी Permanent होंगे.'
फैक्ट चेक
बूम ने दावे की पड़ताल के लिए वायरल पत्र को ध्यान से देखा तो पाया कि इसमें बहुत सारी शाब्दिक गलतियां थीं. इससे हमें इसके फर्जी होने का संदेह हुआ.
हमने भारतीय सेना की आधिकारिक वेबसाइट और उनके एक्स हैंडल को भी चेक किया, लेकिन हमें कोई भी ऐसा अपटेड या नोटिफिकेशन नहीं मिला. हमें वेबसाइट पर अग्निपथ योजना के बारे में वही 4 साल की सेवा अवधि वाली जानकारी मिली. हमें रक्षा मंत्रालय की आधिकारिक वेबसाइट पर भी ऐसा कोई नोटिफिकेशन नहीं मिला.
इसके अलावा हमने पाया कि ऑल इंडिया रेडियो न्यूज ने पीआईबी फैक्ट चेक के हवाले से बताया कि अग्निपथ योजना को सैनिक सम्मान योजना के रूप में फिर से लॉन्च किये जाने वाला मैसेज फर्जी है.
पीआईबी फैक्ट चेक ने अपने एक्स हैंडल पर वायरल पत्र को फेक करार देते हुए बताया कि भारत सरकार ने ऐसा कोई भी निर्णय नहीं लिया है.