पूर्व-क्रिकेटर Yashpal Sharma का निधन, 1983 विश्व विजेता टीम इंडिया का हिस्सा थे
शर्मा ने टीम इंडिया के लिए 37 टेस्ट मैच और 42 वन डे इंटरनेशनल्स खेलें थे.
भारत की 1983 क्रिकेट विश्व कप (1983 Cricket World Cup) विजेता टीम के सदस्य यशपाल शर्मा (Yashpal Sharma) का आज, 13 जुलाई को निधन हो गया. 66 वर्षीय शर्मा की मृत्यु नई दिल्ली में दिल का दौरा पड़ने से हुई.
उन्होंने 1978 और 1985 के बीच भारत के लिए 37 टेस्ट और 42 ODI मैच खेले थे. अपने लगभग दो दशक लंबे करियर (career) में शर्मा ने 8933 रनों के साथ 21 शतक और 46 अर्धशतक बनाए थे.
वो भारत की ऐतिहासिक 1983 की जीत में दूसरे सबसे अधिक रन बनाने वाले खिलाड़ी थे. इस वर्ल्ड कप में उन्होंने 2 हाफ़ सेंचुरी बनाई थी - वेस्ट इंडीज़ के विरूद्ध 89 रन और इंग्लैंड के ख़िलाफ़ 61 रन.
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रिटायरमेंट के बाद यशपाल शर्मा कोचिंग, कमेंट्री और क्रिकेट प्रशासन में शामिल रहे थे. वो दो चरणों में नैशनल सिलेक्टर रह चुके हैं - पहले 2004 से 2005 तक, और बाद में 2008 से 2011 तक. वो उस समिति का भी हिस्सा थे जिसने भारत की 2011 विश्व कप की टीम चुनी थी, वो टीम जिसने हमें दोबारा वर्ल्ड कप जिताया था. भारत में होने वाली कई मैचों में वो अंपायर और मैच रेफ़री भी रहे थे. हाल ही में वो दिल्ली की क्रिकेट एडवायज़री कमिटी का हिस्सा थे.
शर्मा के निधन पर कई भारतीय क्रिकेटरों ने ट्विटर पर शोक व्यक्त किया.
Saddened to hear about the demise of #YashpalSharma. Not only was he a great player but he was also an exceptional human being. I had the distinct pleasure to play a cricket match with him in 1995. The nation mourns his passing. RIP🙏 pic.twitter.com/jpONWVnewO
— Kuldeep Bishnoi (@bishnoikuldeep) July 13, 2021
Sad to hear the demise of my former team mate and friend #YashpalSharma! He was one of the main heroes who helped us lifting the 1983 world cup! May his soul rest in peace 🙏!
— Kris Srikkanth (@KrisSrikkanth) July 13, 2021
Really saddened and shocked at losing a colleague of World Cup fame so early in life. Condolences to the family and God bless his soul 🙏🏻 #YashpalSharma pic.twitter.com/jVkHEyRWfP
— Ravi Shastri (@RaviShastriOfc) July 13, 2021
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शर्मा का जन्म लुधियाना में हुआ था. घरेलु क्रिकेट में वो पंजाब, हरयाणा और रेलवे की तरफ़ से खेलते थे. 1977 की दिलीप ट्रॉफ़ी फ़ाइनल में 173 रन बनाकर, अपनी टीम को जीत हासिल करवाने के बाद शर्मा चमके थे. बाद में उन्हें पाकिस्तान दौरे के लिए चुना गया लेकिन अपने टेस्ट डेब्यू के लिए उन्हें लगभग दो साल तक इंतज़ार करना पड़ा. ये डेब्यू इंग्लैंड के ख़िलाफ़ लॉर्ड्स में था.
उन्होंने दो टेस्ट शतक लगाए थे - ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ 100 रनों की और इंग्लैंड के ख़िलाफ़ 140 रनों की.
यशपाल शर्मा के परिवार में पत्नी, दो बेटियाँ और एक बेटा हैं.
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